Krishak Durghatna Kalyan Yojana: किसान हमारे देश की रीढ़ हैं। वे हमारे खाद्यान्न की आपूर्ति सुनिश्चित करते हैं और अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण योगदान देते हैं। हालांकि, कृषि कार्य अक्सर जोखिम भरा होता है, और किसान दुर्घटनाओं का शिकार हो सकते हैं, जो उनके जीवन और आजीविका को प्रभावित करती हैं। उत्तर प्रदेश सरकार ने इस चुनौती को पहचाना और कृषक दुर्घटना कल्याण योजना शुरू की, जो किसानों और उनके परिवारों को दुर्घटनाओं की स्थिति में वित्तीय सहायता प्रदान करती है। यह योजना, जिसे मुख्यमंत्री कृषक दुर्घटना कल्याण योजना के नाम से भी जाना जाता है, किसानों के लिए एक सुरक्षा कवच के रूप में कार्य करती है। इस लेख में, हम इस योजना के सभी पहलुओं को विस्तार से समझेंगे, जिसमें इसके लाभ, पात्रता, आवेदन प्रक्रिया, और आवश्यक दस्तावेज शामिल हैं।
योजना का इतिहास और उद्देश्य
उत्तर प्रदेश सरकार की एक महत्वपूर्ण पहल है, जिसे 2019 में शुरू किया गया था। इसका मुख्य उद्देश्य किसानों और उनके परिवारों को दुर्घटनाओं से होने वाले आर्थिक नुकसान से बचाना है। यह योजना 14 सितंबर 2019 के बाद हुई दुर्घटनाओं को कवर करती है और किसान की परिभाषा को व्यापक बनाती है। इसमें न केवल खाताधारक और सह-खाताधारक शामिल हैं, बल्कि वे लोग भी शामिल हैं जो किराए या बटाई पर खेती करते हैं और जिनकी मुख्य आजीविका कृषि है।
यह योजना पहले मुख्यमंत्री कृषक दुर्घटना बीमा योजना के नाम से जानी जाती थी, लेकिन 2020 में योगी आदित्यनाथ सरकार ने इसमें संशोधन किया और इसका नाम बदलकर मुख्यमंत्री Krishak Durghatna Kalyan Yojana कर दिया। 21 जनवरी 2020 को लखनऊ में हुई कैबिनेट बैठक में इसकी मंजूरी दी गई, और इसके लिए ₹600 करोड़ का बजट आवंटित किया गया। यह योजना उत्तर प्रदेश के लगभग 2.38 करोड़ किसान परिवारों को लाभ पहुंचाने के लिए डिज़ाइन की गई है, जो इसे राज्य की सबसे व्यापक किसान कल्याण योजनाओं में से एक बनाती है।
लाभ
Krishak Durghatna Kalyan Yojana के तहत, किसानों और उनके परिवारों को विभिन्न प्रकार की दुर्घटनाओं और विकलांगताओं के लिए वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है। यह सहायता कर-मुक्त है, जिससे लाभार्थियों को पूरी राशि मिलती है। नीचे योजना के प्रमुख लाभ दिए गए हैं:
नुकसान का प्रकार | सहायता राशि (₹) |
---|---|
दोनों हाथों और पैरों का नुकसान | 5 लाख |
एक हाथ और एक पैर का नुकसान | 5 लाख |
एक पैर और एक हाथ की विकलांगता | 2 लाख से 3 लाख |
दुर्घटना में किसान की मृत्यु | 5 लाख तक |
25% से 50% तक की विकलांगता | 1 लाख से 2 लाख |
एक आंख का नुकसान | 5 लाख तक |
इसके अतिरिक्त, योजना निम्नलिखित दुर्घटनाओं को कवर करती है:
- पेड़ गिरने से नुकसान या मृत्यु
- भूस्खलन
- यात्रा दुर्घटना
- बिजली गिरने से
- बाढ़ में बह जाना
- जानवर के काटने से
- बिजली के झटके से
- आग लगने से
- घर ढहने से
- आतंकवादी हमले से
- झगड़े में दुर्घटना
- चैंबर में गिरने से
- लूट में हत्या
लाभार्थी
योजना के तहत, किसान की मृत्यु होने पर उनके परिवार के निम्नलिखित सदस्यों को सहायता प्रदान की जाती है:
- माता-पिता
- पत्नी
- बहू
- पुत्र
- पुत्री
- पौत्र
- पौत्री
इसके अलावा, योजना में कृत्रिम अंग या उपकरण प्रदान करने और ऋण चुकाने में सहायता जैसे अतिरिक्त लाभ भी शामिल हैं। यह सुनिश्चित करता है कि प्रभावित परिवार न केवल तत्काल वित्तीय सहायता प्राप्त करें, बल्कि दीर्घकालिक आर्थिक स्थिरता भी बनाए रखें।
पात्रता
Krishak Durghatna Kalyan Yojana का लाभ उठाने के लिए, आवेदकों को निम्नलिखित मानदंडों को पूरा करना होगा:
- उत्तर प्रदेश का स्थायी निवासी होना चाहिए।
- आवेदक की आयु 18 से 70 वर्ष के बीच होनी चाहिए।
- दुर्घटना 14 सितंबर 2019 के बाद हुई होनी चाहिए।
- खाताधारक या सह-खाताधारक होना चाहिए, या किराए/बटाई पर खेती करने वाला होना चाहिए।
- आधार कार्ड से बैंक खाता जुड़ा होना चाहिए।
- 60% या उससे अधिक विकलांगता वाले किसानों को भी लाभ मिलता है।
यह योजना उन किसानों को भी शामिल करती है जो अपनी जमीन के मालिक नहीं हैं, लेकिन बटाई या किराए पर खेती करते हैं। यह समावेशी दृष्टिकोण सुनिश्चित करता है कि अधिक से अधिक किसान इस योजना का लाभ उठा सकें।
विशेष प्रावधान
- यदि किसान की मृत्यु हो जाती है, तो उनके परिवार के सदस्य, जैसे माता-पिता, पत्नी, बच्चे, और पोते-पोतियां, सहायता के लिए पात्र हैं।
- योजना उन किसानों को भी कवर करती है जिनकी वार्षिक पारिवारिक आय ₹75,000 से कम है, जिससे छोटे और सीमांत किसानों को प्राथमिकता मिलती है।
- यदि किसान अन्य योजनाओं, जैसे प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना या प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना, के तहत कवर हैं, तो राज्य सरकार शेष राशि का भुगतान करती है ताकि कुल ₹5 लाख की सहायता सुनिश्चित हो।
आवेदन प्रक्रिया
Krishak Durghatna Kalyan Yojana के तहत लाभ प्राप्त करने के लिए आवेदन प्रक्रिया को सरल और सुलभ बनाया गया है। किसान ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों तरीकों से आवेदन कर सकते हैं।
ऑनलाइन आवेदन
- e-District पोर्टल पर जाएं।
- होम पेज पर “पंजीकृत उपयोगकर्ता लॉगिन” अनुभाग में जाएं।
- यदि आप पहले से पंजीकृत नहीं हैं, तो “नया उपयोगकर्ता पंजीकरण” विकल्प पर क्लिक करके पंजीकरण करें।
- लॉगिन करें और कृषि विभाग की सेवा अनुभाग में “माननीय मुख्यमंत्री किसान दुर्घटना सहायता योजना” के आवेदन फॉर्म पर क्लिक करें।
- अगले पेज पर खुलने वाले आवेदन फॉर्म में सभी आवश्यक जानकारी भरें, जैसे दुर्घटना पीड़ित का विवरण, दावेदार का पता, और दुर्घटना का विवरण।
- सभी आवश्यक दस्तावेज अपलोड करें।
- आवेदन फॉर्म जमा करें और स्थिति को ट्रैक करने के लिए आवेदन संख्या नोट करें।
ऑफलाइन आवेदन
- दुर्घटना के 45 दिनों के भीतर, किसान या उनके परिवार के सदस्यों को जिला कलेक्टर कार्यालय में आवेदन करना होगा।
- आवेदन फॉर्म में दुर्घटना से संबंधित सभी जानकारी प्रदान करें और आवश्यक दस्तावेज संलग्न करें।
- आवेदन को तहसील कार्यालय में जमा करें, जहां अधिकारियों द्वारा सभी विवरणों की जांच की जाएगी।
- सत्यापन प्रक्रिया पूरी होने के बाद, पात्र किसान को योजना के तहत लाभ प्रदान किया जाएगा।
आवेदन समय सीमा
- सामान्यतः, दुर्घटना के 45 दिनों के भीतर आवेदन करना आवश्यक है। हालांकि, जिला कलेक्टर के विवेक पर 30 दिनों का अतिरिक्त समय (कुल 75 दिन) दिया जा सकता है।
- 75 दिनों के बाद प्राप्त आवेदनों पर विचार नहीं किया जाता।
आवश्यक दस्तावेज
आवेदन के लिए निम्नलिखित दस्तावेज आवश्यक हैं:
दस्तावेज | विवरण |
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खाताउनी की सत्यापित प्रति | खाताधारक/सह-खाताधारक के लिए आवश्यक |
पंजीकृत पट्टे की सत्यापित प्रति | किराए पर खेती करने वालों के लिए |
बटाइदार प्रमाण पत्र | – जमीन मालिक या उनके उत्तराधिकारी से प्रमाण पत्र – यदि मालिक उपलब्ध न हो, तो ग्राम प्रधान और क्षेत्रीय लेखाकार से हस्ताक्षरित प्रमाण पत्र |
आयु प्रमाण | जन्म प्रमाण पत्र, स्कूल प्रमाण पत्र, या अन्य मान्य दस्तावेज |
पता प्रमाण | आधार कार्ड, राशन कार्ड, या अन्य मान्य दस्तावेज |
परिवार के सदस्यों का विवरण | परिवार रजिस्टर की प्रति या अन्य दस्तावेज |
आधार कार्ड | अनिवार्य, बैंक खाते से लिंक होना चाहिए |
बैंक पासबुक | सक्रिय बैंक खाते का विवरण |
पैन कार्ड | यदि उपलब्ध हो |
मृत्यु प्रमाण पत्र | मृत्यु के मामले में अनिवार्य |
पोस्टमार्टम रिपोर्ट | मृत्यु के मामले में, यदि लागू हो |
उत्तराधिकारी प्रमाण पत्र | मृत्यु के मामले में परिवार के सदस्यों के लिए |
सक्रिय मोबाइल नंबर | आवेदन स्थिति अपडेट के लिए |
पासपोर्ट साइज फोटो | हाल की तस्वीर |
इन दस्तावेजों को सावधानीपूर्वक तैयार करना महत्वपूर्ण है, क्योंकि अधूरे या गलत दस्तावेजों के कारण आवेदन खारिज हो सकता है।
हालिया प्रभाव और अपडेट
Krishak Durghatna Kalyan Yojana ने उत्तर प्रदेश के लाखों किसान परिवारों को लाभ पहुंचाया है। हाल के आंकड़ों के अनुसार, सरकार ने 431 लाभार्थियों को ₹21 करोड़ की वित्तीय सहायता वितरित की है। जौनपुर जिले में, अप्रैल 2024 से मार्च 2025 तक, 778 आवेदनों में से 450 को मंजूरी दी गई, और 450 परिवारों को ₹17.49 करोड़ की सहायता प्रदान की गई। कुशीनगर जिले में, 2021 से 2025 तक, 503 आवेदनों में से 401 को मंजूरी दी गई।
हाल के एक अपडेट में, आवेदन खारिज करने की समय सीमा को 45 दिनों से बढ़ाकर 180 दिन कर दिया गया है, जिससे किसानों को आवेदन प्रक्रिया पूरी करने के लिए अधिक समय मिलता है। यह बदलाव उन परिवारों के लिए विशेष रूप से उपयोगी है जो दुर्घटना के बाद तुरंत आवेदन करने में असमर्थ होते हैं। हालांकि, 2025 के लिए कोई विशिष्ट अपडेट उपलब्ध नहीं है, लेकिन योजना की निरंतरता और प्रभाव को देखते हुए, यह संभावना है कि यह 2025 में भी सक्रिय रहेगी।
सफलता की कहानियां
योजना ने कई किसान परिवारों के जीवन को बदल दिया है। उदाहरण के लिए, जौनपुर के एक किसान, राम प्रसाद, जो बिजली के झटके से गंभीर रूप से घायल हो गए थे, को ₹2 लाख की सहायता मिली, जिससे उनके परिवार को चिकित्सा खर्च और आर्थिक संकट से उबरने में मदद मिली। इसी तरह, कुशीनगर की एक विधवा, जिनके पति की बाढ़ में मृत्यु हो गई थी, को ₹5 लाख की सहायता मिली, जिसने उनके बच्चों की शिक्षा और परिवार की आजीविका को सुरक्षित किया। ये कहानियां योजना के वास्तविक प्रभाव को दर्शाती हैं।
योजना का महत्व
Krishak Durghatna Kalyan Yojana उत्तर प्रदेश के किसानों के लिए एक महत्वपूर्ण सुरक्षा जाल है। यह न केवल वित्तीय सहायता प्रदान करती है, बल्कि किसानों को यह आश्वासन भी देती है कि दुर्घटना की स्थिति में उनका परिवार अकेला नहीं होगा। योजना की समावेशी प्रकृति, जिसमें बटाइदार और किराए पर खेती करने वाले शामिल हैं, इसे विशेष रूप से प्रभावी बनाती है। ₹600 करोड़ के बजट और 2.38 करोड़ किसान परिवारों के कवरेज के साथ, यह योजना उत्तर प्रदेश सरकार की किसान कल्याण के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाती है।
अन्य योजनाओं के साथ एकीकरण
यह योजना प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना और प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना के साथ समन्वय करती है। यदि कोई किसान इन योजनाओं के तहत पहले से कवर है, तो राज्य सरकार शेष राशि का भुगतान करती है ताकि कुल ₹5 लाख की सहायता सुनिश्चित हो। यह एकीकरण सुनिश्चित करता है कि लाभार्थियों को दोहरी सहायता मिले, जिससे उनकी वित्तीय सुरक्षा और मजबूत होती है।
अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न (FAQs)
- क्या यह योजना सभी किसानों के लिए उपलब्ध है?
हाँ, उत्तर प्रदेश के सभी किसान जो पात्रता मानदंडों को पूरा करते हैं, इस योजना का लाभ उठा सकते हैं। - दुर्घटना के बाद आवेदन करने की अंतिम तिथि क्या है?
सामान्यतः, दुर्घटना के 45 दिनों के भीतर आवेदन करना आवश्यक है, लेकिन हाल के अपडेट में यह समय सीमा 180 दिन तक बढ़ा दी गई है। - क्या ऑनलाइन आवेदन करना अनिवार्य है?
नहीं, आवेदन ऑफलाइन भी जिला कलेक्टर कार्यालय में जमा किया जा सकता है। - क्या विकलांगता के लिए भी सहायता मिलती है?
हाँ, 60% या उससे अधिक विकलांगता के मामले में सहायता प्रदान की जाती है। - क्या यह योजना पूरे भारत में उपलब्ध है?
नहीं, यह योजना केवल उत्तर प्रदेश में उपलब्ध है। - क्या महिला किसान इस योजना का लाभ उठा सकती हैं?
हाँ, महिला किसान भी इस योजना के लिए पात्र हैं। - क्या यह योजना केवल स्वामित्व वाली जमीन वाले किसानों के लिए है?
नहीं, किराए पर ली गई या बटाई की जमीन पर काम करने वाले किसान भी पात्र हैं। - क्या बच्चों को भी इस योजना का लाभ मिल सकता है?
नहीं, योजना 18 वर्ष से कम आयु के व्यक्तियों को कवर नहीं करती, लेकिन मृत्यु के मामले में परिवार के बच्चे लाभार्थी हो सकते हैं। - क्या यह योजना कर-मुक्त है?
हाँ, इस योजना के तहत प्राप्त सहायता पूरी तरह कर-मुक्त है। - आवेदन की स्थिति कैसे जांचें?
ऑनलाइन आवेदन की स्थिति e-District पोर्टल पर लॉगिन करके या जिला कलेक्टर कार्यालय से संपर्क करके जांच की जा सकती है।
निष्कर्ष
Krishak Durghatna Kalyan Yojana उत्तर प्रदेश के किसानों के लिए एक महत्वपूर्ण सुरक्षा कवच है। यह योजना न केवल वित्तीय सहायता प्रदान करती है, बल्कि किसानों और उनके परिवारों को आर्थिक और सामाजिक स्थिरता भी देती है। इसके समावेशी दृष्टिकोण, सरल आवेदन प्रक्रिया, और पर्याप्त बजट आवंटन ने इसे लाखों किसानों के लिए एक विश्वसनीय संसाधन बनाया है। सभी योग्य किसानों को प्रोत्साहित किया जाता है कि वे इस योजना का लाभ उठाएं और अपने परिवार के भविष्य को सुरक्षित करें। अधिक जानकारी के लिए, e-District पोर्टल पर जाएं या अपने नजदीकी जिला कलेक्टर कार्यालय से संपर्क करें।